Headache (All Types)
साफ सीसी में डाल दें और शीशी में थोडा सा साफ पानीं डालकर 5 - 7 मिनट के लिए ढक्कन बंद करके रख दें। बाद में शीशी को जोर से हिलाकर ढक्कन खोल दें और रोगी को नाक से सुंघायें। उसकी तेज गंनध से दर्द से तुरन्त आराम आ जाता है। यह गैस जुकाम के कारण बंद हुए नाक को भी तुरन्त इनहेलर की तरह खोल देती है।
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मस्तक पीडा ( शिर शूल)
पिपलामूल 50 ग्राम
मिश्री। 50 ग्राम
विधि :- दोनों वस्तुओं को पीस - छान कर एकसाथ मिलाकर साफ शीशी में भरकर रखना। 2-2 ग्राम दुध या जल के साथ सुबह - शाम खाने के पहले सेवन करने से मस्तक पीडा दूर होती है।
(2).थोडी सी नौसादर और थोडा सा चूना लेकर दोनों को साफ सीसी में डाल दें और शीशी में थोडा सा साफ पानीं डालकर 5 - 7 मिनट के लिए ढक्कन बंद करके रख दें। बाद में शीशी को जोर से हिलाकर ढक्कन खोल दें और रोगी को नाक से सुंघायें। उसकी तेज गंनध से दर्द से तुरन्त आराम आ जाता है। यह गैस जुकाम के कारण बंद हुए नाक को भी तुरन्त इनहेलर की तरह खोल देती है।
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